मुरादाबाद में दिल्ली ब्लास्ट की घटना पर व्यापारियों ने जताया रोष

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मयंक त्रिगुण, वरिष्ठ संवाददाता  मुरादाबाद-दिल्ली को दहला देने वाली उस भयानक ब्लास्ट की घटना ने पूरे देश को सदमे में डाल दिया है। लाल किला मेट्रो स्टेशन के पास 10 नवंबर की शाम को हुई इस क्रूरतम बम धमाके ने निर्दोष लोगों की जिंदगियां छीन लीं। आंकड़ों के मुताबिक, इस हादसे में कम से कम 10 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि दर्जनों घायल बताए जा रहे हैं। चश्मदीदों का कहना है कि शाम करीब 6:55 बजे एक हुंडई i20 कार में जोरदार धमाका हुआ, जिसकी आवाज इतनी तेज थी कि आसपास के इलाके कांप उठे। मेट्रो स्टेशन के शीशे चूर-चूर हो गए, कई गाड़ियां जलकर राख हो गईं और सड़क पर खून और मलबे का अंबार लग गया।

दिल्ली लाल किला घटना के विरोध में उत्तर प्रदेश संयुक्त व्यापार मंडल की एक आपात बैठक दीवान बाजार स्थित कार्यालय पर आयोजित की गई। यह सभा श्रद्धांजलि के रूप में शुरू हुई, जहां व्यापारियों ने मृतकों को पुष्पांजलि अर्पित की। बैठक की अध्यक्षता प्रदेश अध्यक्ष अरविंद अग्रवाल जॉनी ने की, जबकि संचालन प्रदेश महामंत्री विपिन गुप्ता ने किया। बैठक में सैकड़ों व्यापारी जुटे, जो दिल्ली की इस दर्दनाक घटना से बेहद आहत दिखे। उन्होंने कैंडल मार्च निकाला और बैनर-स्लोगन के जरिए अपना विरोध दर्ज कराया।

बैठक में गूंजा गुस्सा, निर्दोषों पर हमले को बताया शर्मनाक

बैठक के दौरान उपस्थित व्यापारियों ने दिल्ली की इस दर्दनाक घटना की कड़ी निंदा की। एक व्यापारी ने कहा, “ये कैसी क्रूरता है? निर्दोष लोग बस अपने काम-धंधे में लगे थे, और अचानक मौत उनके सिर पर आ नाजिल हो गई।” सबने एक स्वर में कहा कि निर्दोष नागरिकों को निशाना बनाना मानवता के विरुद्ध है। अध्यक्ष अरविंद अग्रवाल जॉनी ने कहा कि यह हमला न सिर्फ दिल्ली पर, बल्कि पूरे देश की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल खड़े करता है। उन्होंने मांग की कि दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा दी जाए और पीड़ित परिवारों को तुरंत मुआवजा मिले। विपिन गुप्ता ने बताया कि व्यापार मंडल राज्य स्तर पर विरोध प्रदर्शन करेगा और केंद्र सरकार से सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम की मांग करेगा।

व्यापारियों ने घटना के पीछे की साजिश पर भी चर्चा की। एनआईए की प्रारंभिक जांच के अनुसार, यह फिदायीन हमला हो सकता है, जिसमें 5 से 10 किलो हाई-इंटेंसिटी विस्फोटक इस्तेमाल हुए। फरीदाबाद में एक फैक्ट्री से अमोनियम नाइट्रेट जैसे खतरनाक पदार्थ बरामद हुए हैं, जो इस ब्लास्ट से जुड़े हो सकते हैं। लखनऊ और कश्मीर में भी छापेमारी चल रही है। व्यापारियों ने कहा कि ऐसी घटनाएं व्यापार को भी प्रभावित करती हैं, क्योंकि दिल्ली जैसे शहरों में दहशत का माहौल बन जाता है। एक दुकानदार ने शेयर किया, “हमारे कई व्यापारी दिल्ली से सामान लाते हैं, अब डर लगता है कि कहीं फिर ऐसा न हो।”

श्रद्धांजलि सभा से निकला संकल्प, सुरक्षा के लिए एकजुट होंगे व्यापारी

श्रद्धांजलि सभा में मृतकों के नाम पढ़े गए – ज्यादातर आम नागरिक, जिसमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल थे। व्यापारियों ने दो मिनट का मौन रखा और फिर स्लोगन लगाए – “न्याय दो, न्याय दो!” अरविंद अग्रवाल ने कहा कि यह समय गम मनाने का नहीं, बल्कि एकजुट होकर लड़ने का है। उन्होंने बताया कि मंडल ने पीड़ित परिवारों के लिए आर्थिक मदद का फैसला लिया है। विपिन गुप्ता ने संचालन में भावुक होकर कहा, “ये ब्लास्ट सिर्फ एक घटना नहीं, हमारी साझा विरासत पर हमला है। लाल किला हमारा गौरव है, इसे निशाना बनाना बर्दाश्त नहीं।” बैठक के अंत में सभी ने हस्ताक्षर अभियान चलाया, जिसमें केंद्र को पत्र लिखा जाएगा।

यह घटना दिल्ली को 13 साल बाद फिर हिला गई है। 2012 के इजरायली राजनयिक हमले के बाद ऐसा खौफनाक मंजर देखने को नहीं मिला। अब लाल किला तीन दिनों के लिए बंद है, मेट्रो स्टेशन के गेट सील हैं और पूरे शहर में हाई अलर्ट है। उत्तर प्रदेश में भी सुरक्षा बढ़ा दी गई है। व्यापारियों की यह सभा न सिर्फ विरोध का प्रतीक बनी, बल्कि एकजुटता का संदेश भी दे गई। उन्होंने अपील की कि आम जनता भी सतर्क रहे और संदिग्ध गतिविधियों की सूचना दे।

बैठक में कई स्थानीय नेता भी शामिल हुए, जिन्होंने व्यापारियों का साथ दिया। कुल मिलाकर, यह सभा दिल्ली ब्लास्ट के दर्द को उत्तर प्रदेश तक पहुंचा दी, लेकिन साथ ही न्याय की उम्मीद भी जगाई। एनआईए की जांच जारी है, और उम्मीद है कि जल्द ही दोषी बेनकाब होंगे। व्यापारी समुदाय ने साफ कहा – ऐसी घटनाओं को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।